अक्सर बढ़ती उम्र जोड़ों के दर्द का सबसे बड़ा कारण बनती है लेकिन आज की युवा पीढ़ी इसकी चपेट में आ चुकी है. आमतौर पर पैरों की गाँठ से शुरू होने वाला यह रोग हड्डियों के किसी भी जोड़ को प्रभावित कर सकता है. एक सर्वे के मुताबिक़ दुनिया के करोड़ों लोग हर साल इस रोग से प्रभावित होते हैं. खानपान और खराब दिनचर्या और हार्मोनल परिवर्तन इसकी सबसे बड़ी वजह मानी जाती है.
जोड़ों में दर्द का कारण
वास्तव में जोड़ों में दर्द के कई कारण हो सकते है. मसलन चोट लगने और संक्रमण के चलते हड्डियाँ कमजोर पड़ जाती हैं. शुरू में इलाज़ के कारण दर्द तो ख़त्म हो जाता है लेकिन आगे चलकर यह बहुत तक्लीफ देता है. कुछ मामलों मे जॉइंट कैंसर (जोड़ों मे कैंसर) के कारण इस तरह का दर्द होने की संभावना बढ़ जाती है. इन मामलों में अधिकतर घुटने, और कंधों मे जोड़ो का दर्द हो सकता है.
जोड़ों में प्राकृतिक उपचार
जोड़ों में दर्द होते ही लोग तात्कालिक राहत के लिए एलोपैथिक सवाओं का इस्तेमाल शुरू कर देते हैं. यह उपचार फौरी राहत तो देता है लेकिन इसके बहुत से साइड इफेक्ट होते हैं. प्राकृतिक तरीके से इलाज़ कर बिना किसी साइड इफेक्ट इस मर्ज़ पर काफी हद तक काबू पाया जा सकता है.
महुआ का तेल- महुआ के तेल से रोजाना सुबह शाम दो बार जोड़ो पर मालिश करने से धीरे- धीरे दर्द गायब हो जाता है और सूजन भी कम हो जाती है.
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नारियल तेल और कपूर
नारियल तेल में कपूर मिलाकर जोड़ों पर मालिश करने से गांठों का दर्द और सूजन समाप्त हो जाता है.
अरंडी का तेल
अरंडी के तेल में लहसुन मिलाकर उबाल लें. उबले हुए तेल से जोड़ों पर मालिश करने से बेहद आराम मिलता है.
घरेलू नुस्खों को अपनाने के अलावा बेहतर खानपान और योगा व्यायाम भी बहुत मायने रखता है. नीबू पानी का सेवन एक बेहतर विकल्प होता है. इसके प्रयोग से शरीर में मौजूद टोक्सिन बाहर निकल जाते हैं